Lok Adalat 2025: अगर आपके ऊपर ट्रैफिक चालान का बोझ है और आप उसे कम पैसे में निपटाना या माफ करवाना चाहते हैं, तो 10 मई 2025 को होने वाली नेशनल लोक अदालत आपके लिए बहुत ही फायदेमंद साबित हो सकती है। इसमें आप न सिर्फ हजारों रुपये के चालान से राहत पा सकते हैं, बल्कि कानूनी कार्रवाई से भी बच सकते हैं।
ट्रैफिक चालान पर भारी छूट लेकिन शर्तें भी हैं
लोक अदालत में चालान माफ तो होते हैं, लेकिन सभी नहीं। इनमें सिर्फ हल्के ट्रैफिक उल्लंघनों जैसे:
- सीट बेल्ट न लगाना
- रेड लाइट जंप करना
- मोबाइल फोन पर बात करते हुए ड्राइव करना
- हेलमेट न पहनना
जैसे मामलों में ही राहत मिलती है। जबकि गंभीर मामलों जैसे:
- नशे में ड्राइव करना
- जानलेवा एक्सीडेंट
- कोर्ट में लंबित आपराधिक मामले
इनके चालान लोक अदालत में माफ नहीं किए जाते।
कब है अगली लोक अदालत 10 मई 2025
इस साल की दूसरी लोक अदालत 10 मई 2025, शनिवार को लगने वाली है। इसका आयोजन सभी ज़िलों की कोर्ट परिसरों में किया जाएगा। यदि आपने पहले चालान भरने का मौका चूक दिया है, तो ये आपके लिए बकाया चालान से छुटकारा पाने का आखिरी बड़ा अवसर हो सकता है।
लोक अदालत के लिए रजिस्ट्रेशन कैसे करें ?
बिना रजिस्ट्रेशन लोक अदालत में आपका चालान नहीं लिया जाएगा। इसके लिए:
- अपनी जिला अदालत या डीटीसी ऑफिस में जाकर रजिस्ट्रेशन कराएं
- या संबंधित ट्रैफिक पुलिस पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन की सुविधा देखें
- रजिस्ट्रेशन के बाद आपको एक स्लॉट टाइम मिलेगा
- उसी टाइम पर अदालत में पहुंचकर कार्यवाही करानी होगी
देर से पहुंचने या टाइम मिस करने पर दोबारा मौका नहीं मिलेगा।
चालान कैसे चेक करें ?
अगर आपको नहीं पता कि आपके नाम पर कोई चालान है या नहीं, तो घर बैठे आसानी से जांच कर सकते हैं।
👉 स्टेप-बाय-स्टेप तरीका:
- वेबसाइट पर जाएं: echallan.parivahan.gov.in
- अब तीन तरीकों से चालान चेक कर सकते हैं:
- वाहन नंबर डालकर
- चालान नंबर डालकर
- ड्राइविंग लाइसेंस नंबर डालकर
अब आपके सामने सभी चालानों की सूची खुल जाएगी
चालान पर कितनी राहत मिल सकती है ?
- चालान की राशि 50% तक कम हो सकती है
- कई बार मामूली चालान पूरी तरह माफ भी कर दिए जाते हैं
- कोर्ट के सामने मामला रखने पर जज आपकी स्थिति को देखकर छूट दे सकते हैं
- छूट की राशि और प्रक्रिया राज्यवार और केस के आधार पर अलग हो सकती है
क्या जरूरी दस्तावेज लेकर जाएं ?
लोक अदालत में जाने से पहले नीचे दिए गए दस्तावेज जरूर साथ रखें:
- चालान की प्रति (यदि उपलब्ध हो)
- वाहन का आरसी (Registration Certificate)
- ड्राइविंग लाइसेंस
- रजिस्ट्रेशन स्लिप (लोक अदालत का रजिस्ट्रेशन)
- पहचान पत्र (आधार कार्ड / वोटर आईडी)
लोक अदालत क्यों होती है ?
लोक अदालतें उन मामलों के जल्दी निपटारे के लिए लगाई जाती हैं जो कोर्ट में लंबे समय से लंबित हैं या जिनका हल बातचीत से निकाला जा सकता है। इससे:
- कोर्ट का समय और खर्च बचता है
- आम लोगों को राहत मिलती है
- छोटे मामलों का निपटारा न्याय संगत तरीके से होता है
समय रहते मौके का फायदा उठाएं
अगर आपके पास 1 से ज्यादा चालान पेंडिंग हैं या चालान की रकम बढ़ती जा रही है, तो 10 मई 2025 की लोक अदालत में भाग लें और कानूनी राहत पाएं। ये सिर्फ आर्थिक नहीं, बल्कि मानसिक राहत का भी तरीका है।
अधिक जानकारी कहां से पाएं ?
- echallan.parivahan.gov.in
- राज्य ट्रैफिक पुलिस की वेबसाइट
- जिला कोर्ट हेल्पडेस्क
- अपने शहर के लोक अदालत प्रकोष्ठ में संपर्क करें